पौड़ी गढ़वाल-जनपद के राठ क्षेत्र के चोडिख गांव के युवक की भगवानपुर में हत्या से क्षेत्र में आक्रोश और शोक की लहर है। नितिन अपने मां-बाप इकलौता बेटा था। पिता लंबे समय से बीमार हैं और उसकी नौकरी से ही घर का खर्चा चलता था।चोडिख गांव निवासी ओम प्रकाश भंडारी का बेटा नितिन हरिद्वार के भगवानपुर में एक दवा कंपनी में काम करता था। वह बीते छह-सात वर्षों से निजी क्षेत्र में सेवारत था। शनिवार को जैसे ही नितिन की हत्या की जानकारी क्षेत्र के ग्रामीणों को मिली तो शोक की लहर दौड़ गई। ग्रामीणों में निर्मम हत्या को लेकर खासा आक्रोश भी है। नितिन के पिता ओम प्रकाश भंडारी छोटी-मोटी ठेकेदारी कर परिवार का भरण पोषण करते थे। वर्ष 2019 को उन्हें लकवे का अटैक पड़ा, तब से वह बीमार ही चल रहे हैं। अब परिवार के भरण-पोषण की जिम्मेदारी भी नितिन के ही कंधों पर थी। उसकी मां चंपा देवी और एक बड़ी व एक छोटी बहन है। वर्ष 2018 में नितिन की शादी हुई, लेकिन पत्नी मायके ही रहती है। उनकी एक बेटी भी है।नितिन के चाचा अधिवक्ता प्रदीप भंडारी ने बताया परिवार बेटे की हत्या से सदमे में है। बीमार पिता व उसकी मां का रो-रोकर बुरा हाल है। उन्होंने बताया कि नितिन बचपन से ही शांत स्वभाव का था। उसका कभी किसी से कोई विवाद नहीं हुआ। ग्रामीण सुनील सिंह, टीका प्रसाद, चंद्र मोहन सिंह आदि ने हरिद्वार पुलिस से आरोपियों की गिरफ्तारी और पूरे मामले की खुलासे की मांग की।
भगवानपुर में दवा कंपनी कर्मचारी की सोची समझी साजिश के तहत की गई हत्या से सनसनी फैल गई है। जांच में सामने आया है कि हत्यारोपी दो दिन तक लाश के साथ रहे और शव को छिपाने के लिए ही बाजार से अनाज की टंकी खरीदकर लाए थे। जब शव से बदबू आने लगी और उसे ठिकाने लगाने का प्लान फेल होता दिखा तो फरार हो गए।पौड़ी निवासी नितिन की हत्या के बाद आसपास के लोग यह सोचकर परेशान हैं कि किसी व्यक्ति को मारकर कमरे में छोड़ दिया गया और उन्हें पता ही नहीं चला। जानकारी के अनुसार जिस मकान में हत्या हुई है वह मकान तीन मंजिला था। सबसे ऊपर की मंजिल पर हत्या हुई। नीचे के दो तलों में किराएदार रहते थे। पुलिस सूत्रों के अनुसार किराएदारों और आसपास के लोगों ने कई सनसनीखेज बातें बताई हैं।
उनका कहना है कि पांच दिन पहले ऊपरी मंजिल पर रहने वाले युवक बाजार से अनाज की टंकी लेकर आए थे। वो लोग किसी से ज्यादा बातचीत नहीं करते थे। सितंबर 2022 में ही उन्होंने मकान किराए पर लिया था। वो मकान मालिक को किराया ऑनलाइन ही देते थे।वहीं दूसरी तरफ जिस एनटीएल कंपनी में नितिन काम करता था वहां 28 नवंबर से उसकी एंट्री ही नहीं हुई थी। ऐसे में माना जा रहा है कि नितिन की हत्या 27 नवंबर की रात को ही कर दी गई थी। वहीं पुलिस सूत्रों के अनुसारलोगों ने जो जानकारी दी है, उसके मुताबिक नितिन भंडारी के साथ रह रहे युवक 30 नवंबर को कमरे का ताला लगाकर गायब हो गए। ऐसे में साफ जाहिर है कि नितिन की हत्या करने के बाद हत्यारे दो दिन तक उसकी लाश को ठिकाने लगाने की जुगत लगाते रहे। इसके बाद बदबू फैलने और लाश ठिकाने लगाने का प्लान फेल होता देखकर फरार हो गए। एसपी देहात एसके सिंह का कहना है कि कई जानकारियां मिली हैं। उनके आधार पर जांच पड़ताल की जा रही है।
फरार युवकों के साथ महिला भी रहती थी
नितिन के हत्यारोपियों के साथ एक महिला के भी रहने की जानकारी मिली है। ये फरार युवकों की मां बताई जा रही है। पुलिस का मानना है कि यह मामला किसी बड़े लेनदेन से जुड़ा हो सकता है। एसएसपी अजय सिंह का कहना है कि मामले की बारीकी से जांच की जा रही है। पुलिस और सीआईयू की टीम गठित कर दी गई है। टीम वेस्ट यूपी में अलग-अलग स्थानों पर दबिश दे रही है।
किराएदार का नहीं कराया था सत्यापन
पुलिस ने मकान मालिक सिकंदर से किराएदारों का सत्यापन कराने की जानकारी ली। इस पर पता चला कि उसने किराएदारों का सत्यापन नहीं कराया था। एसएसपी ने बताया कि किराएदार का सत्यापन नहीं कराने पर मकान मालिक पर नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी। साथ ही पुलिस को किराएदारों का सत्यापन अभियान गहनता से करने के निर्देश दिए गए हैं।
पत्नी से मनमुटाव की मिल रही जानकारी
पुलिस ने मामले की गहनता से जांच की तो पता चला कि मृतक का कुछ दिनों से पत्नी से मनमुटाव चल रहा था। पुलिस इस बिंदु पर भी गहनता से जांच कर रही है। पुलिस का कहना है कि मृतक के परिजनों को सूचना दे दी गई है। परिजनों से कई बिंदुओं पर जानकारी ली जाएगी। साथ ही ऐसी जानकारी मिली है कि वह तीन से चार माह पूर्व ही नौकरी करने आया था।